भाव व शिल्प सौंदर्य स्पष्ट कीजिए –
(क) अंसुवन जल सींचि-सचि, प्रेम-बेलि बोयी अब त बेलि फैलि गई, आणंद-फल होयी
(ख) दूध की मथनियाँ बड़े प्रेम से विलोयी दधि मथि घृत काढ़ि लियो, डारि दयी छोयी
(क) भाव सोंदर्य – इस पद में मीरा की भक्ति अपनी चरम सीमा पर था मीरा ने अपने आसुओ के जल से सीचकर कृष्ण रुपी प्रेम की बेल बोई थे और अब उस प्रेमरूपी बेल में फल आने शुरू होते थे I शिल्प सोंदर्य – भाषा मधुर संगीतमय और राजस्थान मिश्रीत भाषा थी सीची सीची में पुनरुक्ति प्रकाश अलकार थे I अलकार का बड़ी ही कुशलता से प्रयोग किया था I
(ख) भाव सोंदर्य – इस पद में मीरा ने भक्ति की महिमा को बड़े ही सुन्दर ढग से प्रस्तुत किया था इस पद में भक्ति को महत्वपूर्ण तथा सासारिक सुख को छाछ के समान असार माना जाता था इन काव्य पक्तियों में मीरा संसार के सार तत्व को ग्रहण करते थे और व्यर्थ की बातो को छोड़ देने के लिए कहा था I
कवि ने किस आशय से मेहनत की लूट, पुलिस की मार, गद्दारी-लोभ को सबसे खतरनाक नहीं माना?
माटी का रंग प्रयोग करते हुए किस बात की ओर संकेत किया गया है?
कहानी का कौन-सा पात्र आपको सर्वाधिक प्रभावित करता है और क्यों?
मियाँ नसीरुद्दीन को नानबाइयों का मसीहा क्यों कहा गया है?
पथेर पांचाली फिल्म की शूटिंग का काम ढाई साल तक क्यों चला?
शिवशंभु की दो गायों की कहानी के माध्यम से लेखक क्या कहना चाहता है?
कहानी के उस प्रसंग का उल्लेख करें, जिसमें किताबों की विद्या और घन चलाने की विद्या का जिक्र आया है?
इतिहास में स्पीति का वर्णन नहीं मिलता। क्यों?
रजनी ने अमित के मुद्दे को गंभीरता से लिया, क्योंकि –
(क) वह अमित से बहुत स्नेह करती थी।
(ख) अमित उसकी मित्र लीला का बेटा था।
(ग) वह अन्याय के विरुद्ध आवाज़ की सामर्थ्य रखती थी।
(घ) उसे अखबार की सुर्खियों में आने का शौक था।
बेचारा जामुन का पेड़। कितना फलदार था। और इसकी जामुनें कितनी रसीली होती थीं।
(क) ये संवाद कहानी के किस प्रसंग में आए हैं?
(ख) इससे लोगों की कैसी मानसिकता का पता चलता है?
आशय स्पष्ट करें:
तेरा निज़ाम है सिल दे जुबान शायर की,
ये एहतियात ज़रूरी है इस बहर के लिए।
जैसे बाढ़ी काष्ट ही काटै अगिनि न काटै कोई। सब घटि अंतरि तूंही व्यापक धरै सरूपै सोई॥ इसके आधार पर बताइए कि कबीर की दृष्टि में ईश्वर का क्या स्वरूप है?
स्पीति के लोगों और मैदानी भागों में रहने वाले लोगों के जीवन की तुलना कीजिए। किन का जीवन आपको ज्यादा अच्छा लगता है और क्यों?
आपके विचार में चंपा ने ऐसा क्यों कहा होगा कि मैं तो नहीं पढ़ेगी?
पढ़ना-लिखना सब अकारथ गया। वृद्ध मुंशी जी द्वारा यह बात एक विशिष्ट संदर्भ में कही गई थी। अपने निजी अनुभवों के आधार पर बताइए –
(क) जब आपको पढ़ना-लिखना व्यर्थ लगा हो।
(ख) जब आपको पढ़ना-लिखना सार्थक लगा हो।
(ग) “पढ़ना-लिखना’ को किस अर्थ में प्रयुक्त किया गया होगाः साक्षरता अथवा शिक्षा? क्या आप इन दोनों को समान मानते हैं?
अब अगर हम उस जगह बाकी आधे सीन की शूटिंग करते, तो पहले आधे सीन के साथ उसका मेल कैसे बैठता? उसमें से ‘कंटिन्युइटी’ नदारद हो जाती-इस कथन के पीछे क्या भाव है?
जब किसी का बच्चा कमज़ोर होता है, तभी उसके माँ-बाप ट्यूशन लगवाते हैं। अगर लगे कि कोई टीचर लूट रहा है, तो उस टीचर से न ले ट्यूशन, किसी और के पास चले जाएँ… यह कोई मज़बूरी तो है नहीं–प्रसंग का उल्लेख करते हुए बताएँ कि यह संवाद आपको किस सीमा तक सही या गलत लगता है, तर्क दीजिए।
पथेर पांचाली फ़िल्म में इंदिरा ठाकरुन की भूमिका निभाने वाली अस्सी साल की चुन्नीबाला देवी ढाई साल तक काम कर सकीं। यदि आधी फिल्म बनने के बाद चुन्नीबाला देवी की अचानक मृत्यु हो जाती तो सत्यजित राय क्या करते? चर्चा करें।
निम्नलिखित पंक्तियों के काव्य-सौंदर्य को उद्घाटित कीजिए:
(क) ठंडी होती दिनचर्या में, जीवन की गर्माहट
(ख) थोड़ा-सा विश्वास थोड़ा-सी उम्मीद थोड़े-से सपने आओ, मिलकर बचाएँ।
मियाँ नसीरुद्दीन को नानबाइयों का मसीहा क्यों कहा गया है?